Haryana Electicity Dept: हरियाणा में बिजली बिजली कंपनियों की हुई बल्ले बल्ले, बिजली वितरण कंपनियों का अब तक का सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन

 
Haryana Electicity Dept: हरियाणा में बिजली बिजली कंपनियों की हुई बल्ले बल्ले, बिजली वितरण कंपनियों का अब तक का सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन

चंडीगढ़(21 अप्रैल 2024): हरियाणा में बिजली वितरण का कार्य उत्तर हरियाणा बिजली वितरण निगम (यूएचबीवीएन) और दक्षिण हरियाणा बिजली वितरण निगम (डीएचबीवीएन) के पास है, हरियाणा के इतिहास में पहली बार है इन दोनों बिजली वितरण निगमों का एग्रीगेट ट्रंासमिशन एंड कॉमर्शियल (एटीएंडसी) लॉस सिंगल डिजिट में आया है, यह अब तक का सर्वश्रेष्ट प्रदर्शन है, दोनों निगमों का एटीएंडसी लॉस 9.05 प्रतिशत रिकार्ड किया गया है। 

जहां यूएचबीवीएन का एटीएंडसी लॉस 7.19 तो डीएचबीवीएन का 10.36 प्रतिशत रहा है, वहीं पहले से दोनों डिस्कॉम को भारत सरकार के विद्युत मंत्रालय द्वारा ए+ रेटेड मिला है।

उल्लेखनीय है कि यूएचबीवीएन में जहां 10 सर्कल तथा डीएचबीवीएन में 11 सर्कल हैं। यूएचबीवीएन के सर्कल पंचकूला में 2.36 एटीएंडसी लॉस रिकार्ड किया गया है, यानी पंचकूला में बिजली चोरी नहीं के बराबर है। 

अंबाला सर्कल में 4.92 प्रतिशत, यमुनानगर सर्कल में 3.17 प्रतिशत, कुरूक्षेत्र सर्कल में 10.57 प्रतिशत और कैथल सर्कल में 11.32 प्रतिशत एटीएंडसी लॉस है।

इसी प्रकार करनाल सर्कल में 7.02 प्रतिशत, पानीपत सर्कल में 2.36 प्रतिशत, सोनीपत सर्कल में 6.60 प्रतिशत, रोहतक सर्कल में 16.92 प्रतिशत तथा झज्जर में 8.05 प्रतिशत एटीएंडसी लॉस है।

इसी तरह डीएचबीवीएन के अंतर्गत आने वाले सर्कलों में फरीदाबाद सर्कल में 5.06 प्रतिशत, पलवल सर्कल में 23.59 प्रतिशत, गुरुग्राम सर्कल-प्रथम में 1.70 प्रतिशत, गुरुग्राम सर्कल द्वितीय में 3.69 प्रतिशत, नारनौल सर्कल में 4.69 प्रतिशत, रेवाड़ी सर्कल में 3.89 प्रतिशत, भिवानी सर्कल में 15.08 प्रतिशत, हिसार सर्कल में 20.07 प्रतिशत, फतेहाबाद सर्कल में 14.57 प्रतिशत, सिरसा सर्कल में 6.80 प्रतिशत और जींद सर्कल में 38.10 प्रतिशत एटीएंडसी लॉस है।  

इसके अतिरिक्त हरियाणा में 5805 गांवों को 24 घंटे बिजली आपूर्ति मिल रही है। साथ ही जहां राजस्व पहले 27656.65 करोड़ था जो अब बढक़र 31136.86 करोड़ रुपए ( इसमें 5769.94 करोड़ रुपये की सरकारी कृषि सब्सिडी को छोड़ कर) हो गया है। 

प्राप्त जानकारी के अनुसार यमुनानगर में एक 800 मेगावाट का नया सुपर क्रिटिकल थर्मल प्लांट बन रहा है जिस पर 6900 करोड़ रुपए खर्च होंगे, यह कार्य कार्य भारत हैवी इलेक्ट्रिकल लिमिटेड (बीएचईएल) को सौंपा गया, यह प्लांट    57 महीने में बन कर तैयार होगा।

प्रदेश के किसानों के लिए 95000 सौर पंप स्थापित और चालू किए गए हैं। सरकार किसानों को दिन के समय बिजली आपूर्ति देने की योजना बना रही है।